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Anti Drug Day 2023 – नशे के दल-दल में फंसते युवा

अंतरराष्ट्रीय नशा मुक्ति दिवस : अंतराष्ट्रीय नशा मुक्ति दिवस पर लेख :

Anti Drug Day 2023 – अंतरराष्ट्रीय नशा मुक्ति दिवस  –  अंतर्राष्ट्रीय नशा निरोधक दिवस कब मनाया जाता है  – अंतर्राष्ट्रीय दिवस हर साल 26 जून को मनाया जाता है।  दुनिया में मनाये जाने वाले नशा मुक्ति दिवस को हर साल मनाया जाता है परंतु यह आंकड़े दिखाये चौकानें वाले हैं कि देश में नशा का कारोबार अरबों रूपयों तक फैला है। यह पैसा कालेधन के रूप में देश में घूमता रहता है।

अंतरराष्ट्रीय नशा निरोधक दिवस –  नशे का कारोबारी

हाल में यूपी पुलिसे ने एक मकान में चल रही लैब से 300 करोड़ से अधिक की ड्रग्स बरामद किया था । जिसके साथ नाइजीरियाई नागरिक ड्रग्स बनाने वाले भी अरेस्ट  हुए थे और देश-विदेश में सप्लाई करते थे। मादक पदार्थों की कीमत भी 100 करोड़ थी। यह पहला उदाहरण नहीं है ऐसे कई समाचार हमें मिल जायेंगे जिसमें नशे के कई प्रकार जैसे कहीं ब्राऊन सुगर, कोकिन, नशीली टेबलेट, सीरप, गांजा, अफीम की विदेशों से तस्करी ।

इस घटना से हम यह अंदाजा भी लगा सकते हैं कि विदेशी साजिश के तहत भी भारत को कमजोर बनाने के इरादे से नशे के नुमाइंदे विदेशों से नेटवर्क बना रहे हैं।

अंतर्राष्ट्रीय समुदाय व्यक्तियों, समुदायों और समग्र रूप से समाज पर नशीली दवाओं के दुरुपयोग के महत्वपूर्ण प्रभाव को पहचानता है। इस वैश्विक मुद्दे को संबोधित करने के लिए, दुनिया भर के देश नशीली दवाओं के दुरुपयोग और अवैध नशीली दवाओं की तस्करी से निपटने पर केंद्रित विभिन्न पहल और संगठन स्थापित करने के लिए एक साथ आए हैं।

अंतरराष्ट्रीय नशा निरोधक दिवस 2023 –  

नशे के छोटे से लेकर बड़े तस्करों ने पैसा कमाने का अड्डा बनाया है इसके लिये वे छोटे-छोटे युवाओं को खासकर वे युवा जो संपन्न परिवार से है उन्हें टारगेट करते हैं। यह बात आपको बताते हुए हैरानी हो रही है कि आज युवाओं के बीच जो ड्रग्स बनाया जा रहा है कि उसे बेच कर उसके पैसों का उपयोग देश विरोधी कार्यों के लिये किया जाता है।

आतंकियों को फंडिंग करने के लिये भी ड्रग्स का उपयोग किया जाता है अथवा देश विरोधी कार्यों में भी कई बार ऐसा होता है।

International Day Against Drug Abuse 2023  : नशीली दवाओं के चंंगुल में जो लोग फंसने लगते हैं वे कोई भी चाहे उन्हें रोके लेकिन अपने स्वार्थ में इतने ज्यादा अंधे हो जाता है कि घर में भी दो चेहरे बनाकर घूमते हैं। यह बात छात्रों और युवाओं की है कि वह अपने घर में किसी भी तरह से झूठ बोलकर अथवा चोरी करके पैसे चुराकर घर वालों से चोरी-छिपे नशे के लिये पैसे का बंदोबस्त करके अपना स्वार्थ पूरा करते हैं ।

मेडिसीन यानी टेबलेट के नशे का भी आजकल चलन बढ़ता जा रहा है आए दिन खबरें आती है कि नशीली सीरप और टेबलेट पुलिस जप्त करती रहती है। इससे साफ है कि वर्तमान में जो स्थिति है उसमें बदलाव नहीं हो रहा है जो कि भविष्य के लिये चिंता का विषय है ।

ड्रग्स के खिलाफ और नशा मुक्ति के खिलाफ कोई न कोई उपाय किया नहीं गया तो वक्त के साथ ही यह वृहद रूप ले सकता है और इसके लिये जरूरी है कि प्रत्येक नागरिक और खासकर युवाओं को संगति और जागरूकता लाना होगा।

World Health Orginigation – विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ): डब्ल्यूएचओ रोकथाम, उपचार और नुकसान में कमी पर साक्ष्य-आधारित मार्गदर्शन प्रदान करके नशीली दवाओं के दुरुपयोग को संबोधित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। यह नशीली दवाओं से संबंधित स्वास्थ्य जोखिमों को कम करने के उद्देश्य से नीतियां और कार्यक्रम विकसित करने के लिए सदस्य राज्यों के साथ मिलकर काम करता है।

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